यह बात उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 37वें इण्डियन एसोसिएशन आफ टुअर आपरेटर्स (आयटो) के वार्षिक सम्मेलन को संबोधित करते हुए कही| उन्हों ने आगे कहा कि उत्तर प्रदेश में हर प्रकार के पर्यटन के लिए अपार संभावनाएं हैं। बीते पांच वर्षों में उत्तर प्रदेश देश में डॉमेस्टिक टूरिज्म में पहले नंबर पर उभर कर सामने आया है। श्री योगी ने कहा कि धार्मिक पर्यटन के लिहाज से दुनिया की सबसे प्राचीनतम नगरी काशी हमारे उत्तर प्रदेश में है जहां कोई भी पर्यटक हर हर महादेव का नारा लगाए बगैर नहीं रह सकता। काशी में एक वर्ष पहले जहां एक करोड़ सालाना पर्यटक आते थे, वहीं इस वर्ष सिर्फ सावन माह में एक करोड़ पर्यटक प्रदेश में आए हैं। इसके अलावा अयोध्या भी इसी प्रदेश में है जहां हर भारतीय की पहुंचने और दर्शन करने की अभिलाषा रहती है। अयोध्या पहुंचकर कोई भी व्यक्ति जय श्रीराम बोले बगैर नहीं रह सकता। यही नहीं प्रयागराज उत्तर प्रदेश का प्रमुख स्थान है जहां वर्ष 2019 में 24 करोड़ श्रद्धालु आए थे और कहीं कोई गड़बड़ी नहीं हुई। इनके अलावा भगवान बुद्घ से जुड़े प्रमुख केंद्र भी उत्तर प्रदेश में ही हैं। इसी के तहत बुद्ध सर्किट से जुड़े हुए शहरों में भी व्यापक स्तर पर विकास कार्य चल रहे। इसके साथ ही नैमिषारण्य, चित्रकूट और विंध्यवासिनी धाम को भी सुविधाओं से संपन्न किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि प्रदेश के तराई, बिंध्य और बुंदेलखंड क्षेत्र में ईकोटूरिज्म और हेरिटेज टूरिज्म से जुड़े कई स्थान हैं। आगरा भी प्रदेश का प्रमुख पर्यटन स्थल है। प्रदेश में विकास कार्यों के तहत बड़े पैमाने पर काम हो रहा है। एक्सप्रेस वे तैयार हो रहे हैं। सबसे अच्छा रेल नेटवर्क भी यहां है। एयरपोर्ट भी नए तैयार हो रहे हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि टूर ऑपरेटर्स प्रदेश के विभिन्न पर्यटन स्थलों में अधिक से अधिक पर्यटकों को लाएं। आज सुरक्षा की बेहतर गारंटी उत्तर प्रदेश दे सकता है। बेहतर कनेक्टिविटी भी यहां है। प्रदेश में हर स्थान पर पर्यटकों के रहने के लिए होटल रेस्टोरेंट खोलने के प्रयास किए जा रहे हैं।
उत्तर प्रदेश अपार संभावनाओं वाला प्रदेश है। यहां निवेश की अपार संभावनाएं हैं। सुरक्षा की पूरी गारंटी यहां मिलती है। देशी विदेशी पर्यटकों को हम यहां बुलाकर देश की जीडीपी बढ़ाने में भी योगदान दे सकते हैं। इस मौके पर आयटो के अध्यक्ष राजीव मेहरा ने मुख्यमंत्री व अन्य अतिथियों का स्वागत किया। कार्यक्रम में वन एवं पर्यावरण मंत्री अरुण कुमार सक्सेना, परिवहन राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) दयाशंकर सिंह भी मौजूद थे।
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